धमतरी। पीएम आवास सर्वे में अनियमितता बरती जा रही है। लोगों ने सही तरीके से सर्वे करने की मांग की है। जानकारी के अनुसार जिन ग्रामीणों के घर एक या दो कमरा है, ऐसे ग्रामीणों के घर सर्वे में तीन से चार कमरा बताया गया है, इससे इन पात्र परिवारों का नाम अपात्र कर पीएम आवास सूची से काट दिया गया है। इससे ग्रामीणों में नाराजगी है। ग्रामीणों का आरोप है कि जवाबदार लोगों ने घर बैठे ही सर्वे कर दिया है। उनके गलती का खामियाजा उन्हें भुगतना पड़ रहा है, ऐसे लोगों के खिलाफ शासन से कार्रवाई करने और पीड़ितों के नाम पीएम आवास स्वीकृत करने की मांग की है।
नगरी ब्लाक के ग्राम गोरेगांव में पिछले दिनों पीएम आवास पात्रता सूची से नाम कटने से आक्रोशित ग्रामीणाें ने गांव में बैठक आयोजित कराकर नाराजगी जताई है। शिकायत करने वाले ग्रामीण गोवर्धन लाल साहू ,नारद राम साहू, उपेंद्र कुमार, दुष्यंत कुमार, भानु प्रताप साहू, लेखराम साहू, लोकेश्वर कश्यप, खिंजन कश्यप, नवल ध्रुव, सतबाई, बिंदाबाई, वेदांती, चैन सिंह,राकेश, सुखदेव, ओम प्रकाश, हरिचंद नाग, मधु नाग , नीराबाई ने आरोप लगाया है कि वर्ष 2002 के सर्वे सूची में उनका नाम था और 2011 के सर्वे सूची में 25 से 30 ग्रामीणों का नाम कट गया है। वर्ष 2011 में, जो सर्वे हुआ है, उसमें सर्वे करने वाले ग्रामीणों के घरों तक नहीं पहुंचे और अपने मर्जी से ही घर बैठकर सर्वे रिपोर्ट तैयार कर दिया है। यही वजह है कि जिन ग्रामीणों के घर एक व दो कमरे के मकान है, उनके घरों में सर्वे रिपोर्ट में तीन और चार कमरे के पक्का मकान दर्शाया गया हैं, यही वजह है कि पात्र हितग्राहियों का नाम सूची से कट गया है।
इस संबंध में ग्राम पंचायत गोरेगांव के सचिव अनित ध्रुव ने बताया कि ग्राम पंचायत में 2011 के सर्वे के अनुसार एक और दो कमरे वाले हितग्राहियों को आवास योजना का लाभ मिल रहा है, जिनके तीन और चार कमरे रिकार्ड में दिखा रहे हैं, उनका नाम सूची में से काट दिया गया है। कई हितग्राहियों जिनमें एक और दो कमरे हैं, सर्वे रिपोर्ट गलत बना है। उनके रिकार्ड में तीन और चार कमरा दर्शाया गया है इसलिए उन्हें अपात्र की सूची में डाल दिया गया है। आगामी सर्वे होने पर सुधार किया जाएगा।
0 Comments